प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में सभी घरों तक बिजली पहुंचाने के लिए सहज बिजली हर घर योजना (सौभाग्य) की शुरूआत की। इसके तहत 31 मार्च 2019 तक सभी घरों को बिजली उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है। प्रधानमंत्री ने ओएनजीसी के नए कार्पोरेट आॅफिस ‘दीन दयाल ऊर्जा भवन’ को राष्ट्र को समर्पित करते हुए इस योजना की शुरूआत की। इस मौके पर उन्होंने कहा कि इस योजना के न्यू इंडिया के हर घर में बिजली पहुंचेगी। उन्होंने कहा कि आजादी के 70 साल के बाद भी 4 करोड़ घर ऐसें हैं जहां अभी भी बिजली नहीं हैं। आज भी इन घरों के लोग, मोमबत्ती, ढिबरी और लालटेन से पढ़ते हैं। सुख सुविधाओं की बात छोड़िए इन घरों में महिलाओं को अंधेरे में खाना बनाना पड़ता है।इस योजना से जब लोगों के घर बिजली पहुंचेगी तभी उनका भाग्य चमकेगा। उनका सौभाग्य होगा। इसी के लिए सरकार सौभाग्य योजना लेकर आई है। सरकार गरीब के घर पर आकर बिजली कनेक्शन देगी। इसके लिए किसी से एक भी रुपया नहीं लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि मैंने लालकिले से ऐलान किया था कि 1000 दिनों के भीतर इन घरों में बिजली पहुंचाई जाएगी। आज यह काम पूरा होने जा रहा है। देश अब बिजली संकट को पीछे छोड़कर बिजली सरप्लस की ओर आगे बढ़ रहा है।राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के विचारक पंडित दीनदयाल उपाध्याय की जयंती के मौके पर शुरू की गई सौभाग्य योजना के तहत गरीब परिवारों को मुफ्त बिजली कनेक्शन उपलब्ध कराया जाएगा। इस योजना पर कुल 16,320 करोड़ रुपये का व्यय अनुमानित है। इसमें से अधिकतर राशि केंद्र सरकार उपलब्ध कराएगी। बिजली मंत्री आर के सिंह ने योजना के बारे में बताया कि इसके तहत दिसंबर 2018 तक सभी घरों को बिजली उपलब्ध करा दी जाएगी। उन्होंने कहा कि सभी घरों को बिजली पहुंचाने के लिए प्री-पेड मॉडल अपनाया जाएगा।उन्होंने यह भी कहा कि जिस गांव में अब तक बिजली नहीं पहुंची है, वहां तय समय से पहले दिसंबर 2017 तक बिजली पहुंचा दी जाएगी। बिजली मंत्रालय के ‘गर्व पोर्टल’ के अनुसार सरकार ने बिजली से वंचित 18,452 गांवों को बिजली पहुंचाने का लक्ष्य रखा था। इसमें से 14,483 गांवों को बिजली पहुंचा दी गयी है, जबकि 2981 में अभी बिजली पहुंचायी जानी है। वहीं 988 गांव ऐसे हैं जहां कोई नहीं रहता।